Small Savings Scheme
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छोटी बचत योजनाओं, PPF, सुकन्या समृद्धि योजनाओं के निवेशकों को 2026 में लग सकता है झटका!

2025-26 की चौथी तिमाही के लिए इन छोटी बचत योजनाओं के ब्याज दरों की समीक्षा करने वाला है. और माना जा रहा है कि वित्त मंत्रालय पीपीएफ समेत दूसरे बचत योजनाओं के ब्याज दरों में कमी कर सकता है.


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Small Savings Scheme: पब्लिक प्रॉविडेंट फंड (PPF), सुकन्या समृद्धि योजना (Sukanya Samriddihi yojana) जैसी छोटी बचत योजना में निवेश करने वाले निवेशकों को झटका लग सकता है. वित्त मंत्रालय 31 दिसंबर 2025 यानी आज वित्त वर्ष 2025-26 की चौथी तिमाही के लिए इन छोटी बचत योजनाओं के ब्याज दरों की समीक्षा करने वाला है. और माना जा रहा है कि वित्त मंत्रालय पीपीएफ समेत दूसरे बचत योजनाओं के ब्याज दरों में कमी कर सकता है.

इस बात के आसार हैं कि पीपीएफ के निवेशकों के लिए नया वर्ष 2026 निराश करने वाला हो सकता है. पब्लिक प्रोविडेंट फंड (PPF) देश की सबसे लोकप्रिय छोटी बचत योजनाओं में से एक है. इसे सुरक्षित निवेश तो माना जाता है ही साथ ही रिटर्न की सरकारी गारंटी और निवेश से लेकर निकासी तक टैक्स छूट मिलती है. फिलहाल PPF पर 7.1% ब्याज मिल रहा है, जो बड़े बैंकों की एफडी (Fixed Deposit) से भी ज्यादा है. मोदी सरकार ने 1 अप्रैल 2020 के बाद से PPF की ब्याज दर में कोई बदलाव नहीं किया है. लेकिन सवाल उठ रहा है कि क्या सरकार PPF की ब्याज दर घटाएगी या इसे पहले की तरह बरकरार रखेगी?

PPF समेत छोटी बचत योजनाओं की ब्याज दरें श्यामला गोपीनाथ समिति की सिफारिशों के आधार पर तय की जाती है. ब्याज दरें तय करने के लिए 10 साल के सरकारी बॉन्ड (G-Sec) की यील्ड और महंगाई दर इन दोनों को आधार माना जाता है. गोपीनाथ कमिटी के मुताबिक, सरकारी बॉन्ड की औसत यील्ड पर करीब 25 बेसिस पॉइंट जोड़कर PPF की ब्याज दरें तय करने का प्रावधान है.

मौजूदा वित्त वर्ष की के दौरान सितंबर से दिसंबर के बीच 10 साल के सरकारी बॉन्ड की औसत यील्ड करीब 6.54% रही है. इसमें 25 बेसिस पॉइंट जोड़ने पर यह 6.79% बनती है, जो मौजूदा PPF ब्याज दर 7.1% से कम है. ऐसे में ये माना जा रहा है कि सरकार PPF के ब्याज दरों में बदलाव करते हुए इसमें कमी कर सकती है.

इतना ही नहीं दिसंबर महीने के लिए मॉनिटरी पॉलिसी पेश करते हुए आरबीआई ने रेपो रेट में 25 फीसदी प्वाइंट की कटौती कर दी. जिसके बाद रेपो रेट 5.25 फीसदी पर आ चुका है. 2025 में आरबीआई ने 1.25 फीसदी रेपो रेट घटा चुका है. लेकिन सरकार ने छोटी बचत योजनाओं के ब्याज दरों में कोई बदलाव नहीं किया है. लेकिन क्या 2026 में सरकार सौगात देती है या झटका इसपर से पर्दा उठना बाकी है.

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